तुमसा नहीं माँ कोई और वरदानी मेरी माँ भवानी - MadhurBhajans मधुर भजन










तुमसा नहीं माँ कोई
और वरदानी
मेरी माँ भवानी
मेरी माँ भवानी।।
तर्ज मुझे और जीने की।


दिल की व्यथाएँ किसको सुनाऊँ
तुम्हारे सिवा माँ किसको बताऊँ
चरणों में तेरे
बीते जिंदगानी
मेरी माँ भवानी
मेरी माँ भवानी।।


आँचल में अपने मुझे माँ छिपालो
भटकूँ कहीं ना अपना बनालो
पार लगा दो मेरी
नाव है पुरानी
मेरी माँ भवानी
मेरी माँ भवानी।।









जमाना कहे क्या मुझे गम नहीं है
बनूँ मैं तुम्हारा तमन्ना यही है
लगन मैं लगाया तुमसे
करो मेहरबानी
मेरी माँ भवानी
मेरी माँ भवानी।।


विश्वास करले माँ पे मिलेगा किनारा
सच्चे हृदय से जिसने पुकारा
परशुरामकी ये नैया
पार है लगानी
मेरी माँ भवानी
मेरी माँ भवानी।।


तुमसा नहीं माँ कोई
और वरदानी
मेरी माँ भवानी
मेरी माँ भवानी।।
लेखक परशुराम उपाध्याय।
श्रीमानसमण्डलवाराणसी।
9307386438

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tumsa nahi maa koi aur vardani lyrics