थाने निवण करा गंगा माय त्रिवेणी थाने अर्ज करा लिरिक्स - MadhurBhajans मधुर भजन
थाने निवण करा गंगा माय
त्रिवेणी थाने अर्ज करा।।
भगीरथ जन्मया दिलीप रे
कोई सागर कुल रे माय
गंगा लावण ने तप कियो जी
घोर तपस्या रे ताय
त्रिवेणी थाने निवण कराँ।।
गंगा प्रसन्न होई भगत पर
दर्शण दीना आय
म्हारे वेग ने कूण रोकेला
जाऊँ रसातल माय
त्रिवेणी थाने निवण कराँ।।
भगीरथ शिव री करी तपस्या
राली झटा रे माय
धारा फूटी पन्थ बुहारे
गंगा ने सागर में ले जाय
त्रिवेणी थाने निवण कराँ।।
गंगा केयो हरिद्वार सू
कुम्भ कलश ले जाय
थारे पुत्रो रो मोक्ष करादू
ले जाऊ स्वर्गो रे माय
त्रिवेणी थाने निवण कराँ।।
भगीरथ केयो गंगा भेज्या
पितरो ने स्वर्गो माय
आय गंगा री रात जगावे
आवागमन मिट जाय
त्रिवेणी थाने निवण कराँ।।
थाने निवण करा गंगा माय
त्रिवेणी थाने अर्ज करा।।
गायक हर्ष जी माली।
प्रेषक रामेश्वर लाल पँवार आकाशवाणी सिंगर।
9785126052
thane nivan kara ganga maay triveni thane araj kara lyrics