सिमरुला शारद माय सिमरुला सरस्वती - MadhurBhajans मधुर भजन
सिमरुला शारद माय
सिमरुला सरस्वती
लागु गजानन्द पाय
गुरुजी ने निमण करु
अरे रंग मेल मे हाल
फुलड़ो री सेज वसी
थोड़ो ग्यान कोकड़े हाल
सुखमणा री सेज वसी
गुरु बिना मलिया नी ग्यान
भजन बिना मुक्ति नही रे हा।।
नही देवलिया में देव
झालर कुटो मती
धुप ज्योरो अग्न जले
वासना तो पवन बखी
सुरता रंग मेल मे हाल
फुलड़ो री सेज वसी
थोड़ो ग्यान कोकड़े हाल
सुखमणा री सेज वसी
गुरु बिना मलिया नी ग्यान
भजन बिना मुक्ति नही रे हा।।
नही नेणो में तेज
आलसी री गरज केसी
दिन रेण एकण भाव
भोण भले उगो मती
सुरता रंग मेल मे हाल
फुलड़ो री सेज वसी
थोड़ो ग्यान कोकड़े हाल
सुखमणा री सेज वसी
गुरु बिना मलिया नी ग्यान
भजन बिना मुक्ति नही रे हा।।
अरे नही भजो में जोर
सूरो संग चढो मती
भीड़ पड़े भाग जाय
बगतर री गरज केसी
सुरता रंग मेल मे हाल
फुलड़ो री सेज वसी
थोड़ो ग्यान कोकड़े हाल
सुखमणा री सेज वसी
गुरु बिना मलिया नी ग्यान
भजन बिना मुक्ति नही रे हा।।
डगमग डुले जीव
हरी भक्ति झेलो मती
तत बिना मलियो नी राज
बोल्या गोरख जती
सुरता रंग मेल मे हाल
फुलड़ो री सेज वसी
थोड़ो ग्यान कोकड़े हाल
सुखमणा री सेज वसी
गुरु बिना मलिया नी ग्यान
भजन बिना मुक्ति नही रे हा।।
सिमरुला शारद माय
सिमरुला सरस्वती
लागु गजानन्द पाय
गुरुजी ने निमण करु
अरे रंग मेल मे हाल
फुलड़ो री सेज वसी
थोड़ो ग्यान कोकड़े हाल
सुखमणा री सेज वसी
गुरु बिना मलिया नी ग्यान
भजन बिना मुक्ति नही रे हा।।
गायक जोग भारती जी।
प्रेषक पुखराज पटेल बांटा
9784417723
simaru sharad may simrula saraswati lyrics