सररर लेवे रे सबड़को मारो साँवरो भजन लिरिक्स - MadhurBhajans मधुर भजन
सररर लेवे रे सबड़को मारो साँवरो
रान्द लाई खीचड़ो
मैं कूट लाई बाजरो
सररर लेवे रे सबड़को मारो साँवरो।।
मैं छू भोली जाटणी
नही दीवानी मीरा
राधा जैसो प्रेम नही
मैं भोली भाली जाटणी
सरर लेवे रे सबड़को मारो साँवरो।।
सावन का महीना के माही
झूला झूले साँवरो
राधा राणी घुमर कावे
मुरली बजावे साँवरो
सरर लेवे रे सबड़को मारो साँवरो।।
कानुड़ा की महिमा ने
श्रवण सेंदरी गाय रा
कानुडो दही खावे रे
राधा जी थारे कारणे
सरर लेवे रे सबड़को मारो साँवरो।।
सररर लेवे रे सबड़को मारो साँवरो
रान्द लाई खीचड़ो
मैं कूट लाई बाजरो
सररर लेवे रे सबड़को मारो साँवरो।।
गायक श्रवण सेंदरी
लेखक सिंगर देव नागर
9602975104
sara rara leve re sabdko mharo sanwaro lyrics