नगरी हो वृन्दावन सी गोकुल सा घराना हो लिरिक्स - MadhurBhajans मधुर भजन










नगरी हो वृन्दावन सी
गोकुल सा घराना हो
चरण हो माधव के
जहाँ मेरा ठिकाना हो
माँ यशोदा सी मैया हो
दाऊ जैसा भैया हो
नन्द बाबा की सदा
मेरे सर पर छइयां हो।।
तर्ज लक्ष्मण सा भाई हो।


गउओं की टोली हो
ग्वालों का साथ मिले
ब्रज की हो गलियां
मनमोहक उपवन खिलें
हो त्याग देवकी सा
वासुदेव सी शक्ति हो
उद्धव के जैसे
निष्ठां और भक्ति हो।।


राधा का प्रेम मिले
गोपियों का रास मिले
नाचे ये धरती
गाता आकाश मिले
यमुना का किनारा हो
निर्मल जल धरा हो
भगवन दरस मुझे
हर रोज़ तुम्हारा हो।।









मेरी जीवन नइया हो
हर नाम खिवैया हो
मुरलीधर जैसा
मेरा पार लगैया हो
नगरी हों वृन्दावन सी
गोकुल सा घराना हो
चरण हो माधव के
जहाँ मेरा ठिकाना हो।।


नगरी हो वृन्दावन सी
गोकुल सा घराना हो
चरण हो माधव के
जहाँ मेरा ठिकाना हो
माँ यशोदा सी मैया हो
दाऊ जैसा भैया हो
नन्द बाबा की सदा
मेरे सर पर छइयां हो।।












nagri ho vrindavan si lyrics