ना ही किनारा ना ही सहारा किसी की ना दरकार भजन लिरिक्स - MadhurBhajans मधुर भजन










ना ही किनारा ना ही सहारा
किसीकी ना दरकार
जो संग में तू मेरे
जो संग में है तू मेरे
जो संग में है तू मेरे
ना ही किनारा ना हीं सहारा
ना ही किनारा ना हीं सहारा
किसी की ना दरकार
जो संग में तू मेरे।।
तर्ज हनुमान भरोसा तेरा है।


क्या करना है किनारे का
क्या करना है सहारे का
भव से वो तो पार हुआ
जो नौकर इस प्यारे का
नदी किनारे नैया डूबी
नदी किनारे नैया डूबी
देखि सौ सौ बार
प्रभु क्या खेल तेरे
ना ही किनारा ना हीं सहारा
किसीकी ना दरकार
जो संग में तू मेरे।।


जिसपे भरोसा करते थे
काम मेरे वो आएगा
देगा मुझे सहारा वो
नैया पार लगाएगा
उनके चलते अटक गई थी
उनके चलते अटक गई थी
नैया मेरी मझधार
प्रभु क्या खेल तेरे
ना ही किनारा ना हीं सहारा
किसीकी ना दरकार
जो संग में तू मेरे।।









नैया ले मझधार खड़ा
याद आई मुझे तब तेरी
मेरे हाथ को थाम लिया
पलभर भी ना की देरी
श्याम कहे उस दिन से मेरा
श्याम कहे उस दिन से मेरा
बन गया पालनहार
प्रभु क्या खेल तेरे
ना ही किनारा ना हीं सहारा
किसीकी ना दरकार
जो संग में तू मेरे।।


ना ही किनारा ना ही सहारा
किसीकी ना दरकार
जो संग में तू मेरे
जो संग में है तू मेरे
जो संग में है तू मेरे
ना ही किनारा ना हीं सहारा
ना ही किनारा ना हीं सहारा
किसीकी ना दरकार
जो संग में तू मेरे।।
स्वर संजय मित्तल जी।










na hi kinara na hi sahara lyrics