मनमोहन कान्हा विनती करू दिन रैन भजन लिरिक्स - MadhurBhajans मधुर भजन
मनमोहन कान्हा
विनती करू दिन रैन
राह तके मेरे नैन
राह तके मेरे नैन
अब तो दरस बिन कुञ्ज बिहारी
मनवा है बेचैन
मनमोहन कांन्हा
विनती करू दिन रैन।।
नेह की डोरी तुम संग जोड़ी
हम से तो नाही जाएगी तोड़ी
हे मुरलीधर कृष्णमुरारी
तनिक ना आवे चैन
राह तके मेरे नैन
राह तके मेरे नैन
अब तो दरस बिन कुञ्ज बिहारी
मनवा है बेचैन
मनमोहन कांन्हा
विनती करू दिन रैन।।
जनम जनम से पंथ निहारुँ
बोलो किस विध तुम को पुकारूँ
हे नटनागर हे गिरधारी
काहे ना पावे वैर
राह तके मेरे नैन
राह तके मेरे नैन
अब तो दरस बिन कुञ्ज बिहारी
मनवा है बेचैन
मनमोहन कांन्हा
विनती करू दिन रैन।।
मनमोहन कान्हा
विनती करू दिन रैन
राह तके मेरे नैन
राह तके मेरे नैन
अब तो दरस बिन कुञ्ज बिहारी
मनवा है बेचैन
मनमोहन कांन्हा
विनती करू दिन रैन।।
manmohan kanha vinti karu din rain lyrics in hindi