मैं हार के दुनिया से तेरे द्वार पे आया हूँ भजन लिरिक्स - MadhurBhajans मधुर भजन










मैं हार के दुनिया से
तेरे द्वार पे आया हूँ
हे श्याम मेरे श्याम
रहम करना गर्दिश का सताया हूँ
मैं हार के दुनियां से।।


नहीं मोल चूका सकते
तेरे उपकारों का
रहा सदा सहारा तू
तकदीर के मारों का
मुझ पर भी दया करना
दुःख दर्द का साया हूँ
हे श्याम मेरे श्याम
रहम करना गर्दिश का सताया हूँ
मैं हार के दुनियां से।।


दीनो की सदा तुमने
बड़ी की रखवाली है
कभी दुःख की शूल चुभी
तुमने ही निकाली है
मेरी भी खबर ले लो
बड़ा मैं दुःख पाया हूँ
हे श्याम मेरे श्याम
रहम करना गर्दिश का सताया हूँ
मैं हार के दुनियां से।।


हे श्याम धणी कैसे
मैं पाऊं बोल तुझे
बाज़ार में मिलता तो
ले लेता मोल तुझे
इस मिलन की चाहत ने
बड़ा मैं तड़पाया हूँ
हे श्याम मेरे श्याम
रहम करना गर्दिश का सताया हूँ
मैं हार के दुनियां से।।









कभी सुख के रंग भरे
किस्मत की लकीरों में
कभी गजेसिंह जकड़ा
दुःख की ज़ंजीरो में
हे श्याम ये खेल तेरा
मैं समझ ना पाया हूँ
हे श्याम मेरे श्याम
रहम करना गर्दिश का सताया हूँ
मैं हार के दुनियां से।।


मैं हार के दुनिया से
तेरे द्वार पे आया हूँ
हे श्याम मेरे श्याम
रहम करना गर्दिश का सताया हूँ
मैं हार के दुनियां से।।
गायक प्रेषक विकास रघुवंशी।
9910764844










main haar ke duniya se tere dwar pe aaya hoon lyrics