करमा का लिखिया आंकडा वाने कोई मिटा नहीं पावें - MadhurBhajans मधुर भजन










करमा का लिखिया आंकडा
वाने कोई मिटा नहीं पावें
कोई मिटा नहीं पावें रे दादा भई
कोई मिटा नहीं पावे
करमा का लिखिया आंकड़ा
वाने कोई मिटा नहीं पावें
अरे रेत पडी भाटा के ऊपर
धोया नाय धुपावे
करमा का लिखिया आँकड़ा
वाने कोई मिटा नहीं पावें।।


रावण करी तपस्या
गढ सोना की लंका पावे
भक्त विभीषण माला रे फेरी
राम सरण मिल जावे
कुम्भकर्ण ईन्द्राशण मांग्यो
निद्रासण मिल जावे
करमा का लिखिया आँकड़ा
वाने कोई मिटा नहीं पावें।।


राजा विक्रम सेठ हवेली में
अंजल भोग लगावें
रूटी किस्मत देखत देखत
मोर हार निंगलावे
फुटा करम फाकीर का
भई भरी शलम ढुल जावे
करमा का लिखिया आँकड़ा
वाने कोई मिटा नहीं पावें।।


राजा बलि महा दानी
नन्याणु यज्ञ कर पावें
सोवो यज्ञ कर बलि राजा
बेकुंठ पोछणो छावे
स्वर्ग हात नी आयो पादरो
पाताला मे जावे
करमा का लिखिया आँकड़ा
वाने कोई मिटा नहीं पावें।।









मातो काटन देदा
तोई जस नहीं पावें
मातो काटन मेला हराण
तोई अपजस पावें
बोज खीच ने लावे बलद पण
हुको चारो खावे
ठाण बन्दी गोंडी ने देखो
रचको दाणो खवावे रे
करमा का लिखिया आँकड़ा
वाने कोई मिटा नहीं पावें।।


रोड्या माईने सुता पण
महला का सपना आवे
लिख्यो तेल तकदीर माईने
घी कटा सु खावे
वेणो वेईजो वेई उकारो
अपणो मन समजावे रे
करमा का लिखिया आंकडा
वाने कोई मिटा नहीं पावें।।


करमा का लिखिया आंकडा
वाने कोई मिटा नहीं पावें
कोई मिटा नहीं पावें रे दादा भई
कोई मिटा नहीं पावे
करमा का लिखिया आंकड़ा
वाने कोई मिटा नहीं पावें
अरे रेत पडी भाटा के ऊपर
धोया नाय धुपावे
करमा का लिखिया आंकडा
वाने कोई मिटा नहीं पावें।।
गायक जगदीश वैष्णव।
प्रेषक
916378473647










karma ka likhiya aakda vane koi mita nahi pave lyrics