जो बैठे चरणों में तिहारे उसे वाणी का वरदान मिले भजन लिरिक्स - MadhurBhajans मधुर भजन
जो बैठे चरणों में तिहारे
उसे वाणी का वरदान मिले
माँ तू जिसकी ओर निहारे
माँ तू जिसकी ओर निहारे
उसे गुणियों में अस्थान मिले
जों बैठे चरणों में तिहारे
उसे वाणी का वरदान मिले।।
वर दे वीणा वादिनी वर दे
स्वर शब्दों से अंतस भर दे
तेरी वीणा जब झंकारे
साधक को नव प्राण मिले
साधक को नव प्राण मिले
जों बैठे चरणों में तिहारे
उसे वाणी का वरदान मिले।।
शब्द कहाए ब्रम्ह सहोदर
कुछ भी नही संगीत से बढ़कर
स्वर साधक जब स्वर से पुकारे
उसे सहज स्वयं भगवान मिले
उसे सहज स्वयं भगवान मिले
जों बैठे चरणों में तिहारे
उसे वाणी का वरदान मिले।।
कंठ समर्पित गान समर्पित
ह्रदय समर्पित प्राण समर्पित
अर्पित श्रद्धा भाव हमारे
हमें सांचे स्वर का ज्ञान मिले
हमें सांचे स्वर का ज्ञान मिले
जों बैठे चरणों में तिहारे
उसे वाणी का वरदान मिले।।
जो बैठे चरणों में तिहारे
उसे वाणी का वरदान मिले
माँ तू जिसकी ओर निहारे
माँ तू जिसकी ओर निहारे
उसे गुणियों में अस्थान मिले
जों बैठे चरणों में तिहारे
उसे वाणी का वरदान मिले।।
jo baithe charno me tihare lyrics