जम्भेश्वर म्हारी अरजी सुनो भजन लिरिक्स - MadhurBhajans मधुर भजन










मैं थाने निवण करूं मैं प्रणाम
जम्भेश्वर म्हारी अरजी सुनो
अरजी सुनो म्हारा गुरुजी विनती सुनो
थाने निवण करूं में प्रणाम
जम्भेश्वर म्हारी अरज सुनो।।


पिंपासर में आनन्दवारी
सखिया मंगल गाए
गुरुजी सखिया मंगल गाए
गड़ सु दी जब लेवे नाय
बुगिया करे ओ विलाप
जम्भेश्वर म्हारी अरज सुनो।।


माता हंसा केसरी ओ
चिंता करे मन माय
गुरुजी चिंता करे मन माय
लाल हमारा बोली नी
थे लोहट जी करो नी ऊपाय
जम्भेश्वर म्हारी अरज सुनो।।


आयो पुरोहित आंगणे ओ
दिपक धिया भराय
ओ गुरूजी दिपक दिया भराय
मंत्र हमारा माने ना
मंत्र हमारा माने ना
पुरोहित भयो ऊदास
जम्भेश्वर म्हारी अरज सुनो।।









दे पाखंड छोड़ पुरोहित
सही मार्ग बतलाय
पुरोहित सही मार्ग बतलाय
विष्णु विष्णु बोल के
विष्णु विष्णु बोल के
पानी का दिपक जलाय
जम्भेश्वर म्हारी अरज सुनो।।


जान बचाई गाय री ओ
मलरे कोठरे जाय
गुरूजी मलरे कोठरे जाय
सोने रो कथिर बनायो
खल रो कियो रे नारेल
जम्भेश्वर म्हारी अरज सुनो।।


शब्द सुणाया ज्ञान का
अम्रत पाहल पिलाय
गुरुजी अम्रत पाहल पिलाय
जन्म मरण रो भ्रम मिटायो
मुक्ति रो मार्ग बतायो
जम्भेश्वर म्हारी अरज सुनो।।


मैं थाने निवण करूं मैं प्रणाम
जम्भेश्वर म्हारी अरजी सुनो
अरजी सुनो म्हारा गुरुजी विनती सुनो
थाने निवण करूं में प्रणाम
जम्भेश्वर म्हारी अरज सुनो।।





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jambheshwar mhari araj suno lyrics