गुरु मिलिया आत्म राम प्रकाश माली भजन लिरिक्स - MadhurBhajans मधुर भजन
गुरु मिलिया आत्म राम
श्लोक सतगुरु ऐसा कीजिए
दुखे दुखावे नाही
अरे पान फूल तोड़े नाही
वे रेवे बगीचा माये।।
म्हारा गुरूजी ऐसा
फूल गुलाबी जैसा ओ
म्हारे घर में रमता देखिया रे
गुरु मिलिया आत्म राम
मिलिया आत्म राम गुरूजी
मिलिया आत्म राम
म्हारी निर्मल हो गई काया रे
गुरु मिलिया आत्म राम।।
इंद्र करे छड़काई
अरे पवन करे नरमाई
म्हारे हुआ गुरु रा वासा रे
गुरु मिलिया आत्म राम
मिलिया आत्म राम गुरूजी
मिलिया आत्म राम
म्हारी निर्मल हो गई काया रे
गुरु मिलिया आत्म राम।।
सूरज चाँद पर वासा
वे रेहता रे आकाशा
आ कुदरत खेल रचायो रे
गुरु मिलिया आत्म राम
मिलिया आत्म राम गुरूजी
मिलिया आत्म राम
म्हारी निर्मल हो गई काया रे
गुरु मिलिया आत्म राम।।
मीठा राम जग माये
हरी से ध्यान लगाईं
म्हारा बेड़ा पार उतारो रे
गुरु मीलिया आत्म राम
मिलिया आत्म राम गुरूजी
मिलिया आत्म राम
म्हारी निर्मल हो गई काया रे
गुरु मिलिया आत्म राम।।
म्हारा गुरूजी ऐसा
फूल गुलाबी जैसा ओ
म्हारे घर में रमता देखिया रे
गुरु मिलिया आत्म राम
मिलिया आत्म राम गुरूजी
मिलिया आत्म राम
म्हारी निर्मल हो गई काया रे
गुरु मिलिया आत्म राम।।
श्रवण सिंह राजपुरोहित द्वारा प्रेषित
सम्पर्क 91 9096558244
guru milya aatma ram lyrics