अहसान तेरे कैसे चुकाऊं मुझको बता दो श्याम कैसे रिझाऊं - MadhurBhajans मधुर भजन
अहसान तेरे कैसे चुकाऊं
मुझको बता दो श्याम
कैसे रिझाऊं
अहसान तेरे।।
तर्ज सागर किनारे।
ठिकाना नहीं था
दुनिया में मेरा
मिला जबसे से मुझको
सहारा ये तेरा
दुनिया बदल मेरी
कही क्यों मैं जाऊं
अहसान तेरे।।
गमो का अँधेरा
मिटाया है तुमने
हारा हुआ था
जिताया है तुमने
हारे के सहारे तुम हो
कैसे भूल जाऊं
अहसान तेरे।।
अपनी शरण में
रखना सदा ही
किरपा की वर्षा
करना सदा ही
इतनी सी अर्जी पूरी
करना सदा ही
अहसान तेरे।।
अहसान तेरे कैसे चुकाऊं
मुझको बता दो श्याम
कैसे रिझाऊं
अहसान तेरे।।
9826089089
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