धारा नगर वाले चौवटे राजा हरिचन्द्र मांडी हाट राजस्थानी भजन - MadhurBhajans मधुर भजन
धारा नगर वाले चौवटे
राजा हरिचन्द्र मांडी हाट हाटो वाला।
श्लोक सतरी सौरभ छाएगी
तीन लोक रे माये
पारख हरिचन्द्र री करी
सपने में मुनि आये।
दे दियो सब दान
जो है सूर्यवंशी शिरमोर
जावे है सब त्याग के
राज वंस तट छोड़।
सत्तीया सत मती छोड़जो
सत छोड़िया पथ जाए
सत री बाँधी लक्ष्मी
मिले वा तो फिर आये।।
धारा नगर वाले चौवटे
राजा हरिचन्द्र मांडी हाट हाटो वाला।
कोई तो बेचे गेहुँ गेगरा ओ
राजा हरिचन्द्र बेचे
नेनो बाल लेवन वाला
जतरे माली रो बेटो आवियो ओ
राजा कर थारे टाबरिया रो मोल देवन वाला
रामजी देरावे जगो देवजो
मानी देनो देनो ब्राह्मण दान
लेवन वाला ओ।।
कोई तो बेचे सोनो सोलमो
राजा बेचे तारामती नार लेवन वाला।
जतरे वैश्या री लड़की आ गई
राजा कर थारी रानी रो मोल देवन वाला
रामजी देरावो जगो देवजो
मानो देनो देनो ब्राह्मणनी दान देवन वाला।।
कोई तो बेचे महल मालिया
राजा हरिचन्द्र विकवानी जाए लेवन वाला।
जतरे हरिजन रो बेटो आवियो
राजा कर थारी देह रो मोल देवन वाला
रामजी देरावे जगो देवजो
मानी देनो देनो ब्राह्मणनी दान लेवन वाला।।
सत्तीया सत माती छोड़जो
सत छोड़िया पथ जाए विकन वाला।
धारा नगर वाले चौवटे
राजा हरिचन्द्र मोड़े हाट हाटो वाला।
dhara nagar wale chovate lyrics in hindi