दादी इतनी किरपा करिये दर पे आवता रवा भजन लिरिक्स - MadhurBhajans मधुर भजन










दादी इतनी किरपा करिये
दर पे आवता रवा
मैं तो थारे दरबार से
माँ मांगता रवा।।
तर्ज थारे सेठ जी रो सेठ।


थोड़ो थोड़ो देवोगा तो
बार बार आवाँगा
दादी थाने मीठा मीठा
भजन सुनावांगा
म्हारी झोली इतनी भरिये
मैं भी बांटता रवा
मैं तो थारे दरबार से
माँ मांगता रवा।।


एक बार में देवोगा तो
आ नी कोणी पावांगा
मोह माया के जाल में माँ
मैं भी फस जावांगा
शुभम रूपम म्हे भी
हाजरी लगावता रवा
मैं तो थारे दरबार से
माँ मांगता रवा।।









दादी इतनी किरपा करिये
दर पे आवता रवा
मैं तो थारे दरबार से
माँ मांगता रवा।।
स्वर शुभम रूपम।










dadi itni kirpa kariye dar pe aavta rava lyrics