बन में डोले राम लखन दोनों भाई रे सीता नजर नही आई रे - MadhurBhajans मधुर भजन
बन में डोले राम लखन दोनों भाई रे
जाने सीता नजर नही आई रे
सीता नजर नहीं आई रे
वाने जानकी नजर नहीं आई रे
बन में डोले राम लखन दोनी भाई रे
जाने सीता नजर नही आई रे।।
आधी आधी रात बनी में डोले
दुखी राम लक्ष्मन से बोले
बीरा देख रे कुटिया के माई रे
वाने जानकी नजर नहीं आई रे
बन में डोले राम लखन दोनी भाई रे
जाने सीता नजर नही आई रे।।
उडता पंछी कोई तो बता दे
सीता को संदेश सुनादयो
हेला देव छ राम रघुराई रे
वाने जानकी नजर नहीं आई रे
बन में डोले राम लखन दोनी भाई रे
जाने सीता नजर नही आई रे।।
घायल एक जटायु मिल ग्यो
बोल्यो सीता न रावण लेग्यो
कोई लंक पुरी क माही र
वाने जानकी नजर नहीं आई रे
बन में डोले राम लखन दोनी भाई रे
जाने सीता नजर नही आई रे।।
रामचन्र्दजी के धीरज आग्यो
कह हनुमान सहाय रघुराई
थॉकी छोटी सी महिमा गाई रे
वाने जानकी नजर नहीं आई रे
बन में डोले राम लखन दोनी भाई रे
जाने सीता नजर नही आई रे।।
बन में डोले राम लखन दोनों भाई रे
जाने सीता नजर नही आई रे
सीता नजर नहीं आई रे
वाने जानकी नजर नहीं आई रे
बन में डोले राम लखन दोनी भाई रे
जाने सीता नजर नही आई रे।।
गायक मुकेश कुमावत।
प्रेषक धरम चन्द नामा।
नामा म्युजिक सांगानेर
9887223297
ban me dole ram lakhan dono bhai re lyrics